देवरिया, (राष्ट्र की परम्परा) शिक्षा व्यवस्था को और अधिक सशक्त, सुव्यवस्थित एवं गुणवत्तापरक बनाने की दिशा में उत्तर प्रदेश सरकार की प्राथमिकताओं के अनुरूप जनपद देवरिया में विद्यालय युग्मन (स्कूल मर्जिंग) प्रक्रिया को सख्ती से लागू किया जा रहा है। इस क्रम में जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) शालिनी श्रीवास्तव ने जानकारी दी कि वर्तमान में जिले में कुल 251 विद्यालयों का युग्मन किया गया है।
बीएसए श्रीवास्तव ने बताया कि पूर्व में जनपद में 244 विद्यालयों का युग्मन किया गया था। बाद में शासन एवं विभागीय समीक्षा के क्रम में 30 विद्यालयों के युग्मन आदेशों में संशोधन करते हुए उन्हें निरस्त कर दिया गया है। इसके अतिरिक्त 37 नए विद्यालयों की पहचान कर उनका नवीन युग्मन किया गया है और इस संबंध में पृथक आदेश जारी कर दिए गए हैं।
क्या है विद्यालय युग्मन योजना?
विद्यालय युग्मन का उद्देश्य एक ही परिसर या निकटवर्ती क्षेत्रों में संचालित प्राइमरी और जूनियर विद्यालयों को एकीकृत कर बेहतर संसाधन, शिक्षकों की तैनाती, आधारभूत सुविधाएं और शैक्षिक वातावरण सुनिश्चित करना है। इससे न केवल शिक्षकों की अनुपलब्धता की समस्या का समाधान होता है, बल्कि बच्चों को गुणवत्तापरक शिक्षा उपलब्ध कराना भी आसान होता है।
शिक्षकों की समुचित तैनाती और दक्ष उपयोग ,संसाधनों का बेहतर प्रबंधन,शिक्षण व्यवस्था में पारदर्शिताबच्चों को सुविधायुक्त व समेकित शैक्षणिक माहौल,विद्यालयों में आधारभूत संरचना का समुचित उपयोग,बीएसए ने यह भी बताया कि युग्मन की प्रक्रिया में सभी संबंधित प्रधानाध्यापकों, एसएमसी सदस्यों और अभिभावकों से विचार-विमर्श कर योजनाबद्ध तरीके से निर्णय लिए गए हैं। शासन की मंशा है कि शिक्षा के स्तर में सुधार के साथ-साथ स्कूल ड्रॉपआउट की समस्या को भी नियंत्रित किया जाए।
जिले में युग्मन की स्थिति एक नजर में: पूर्व में युग्मित विद्यालय 244 निरस्त युग्मन आदेश 30 नए विद्यालयों का युग्मन 37
वर्तमान कुल युग्मित विद्यालय 251 बीएसए कार्यालय द्वारा यह भी आश्वस्त किया गया है कि विद्यालय युग्मन के उपरांत बच्चों की शिक्षा में किसी प्रकार की बाधा न आए इसके लिए सभी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जा रही हैं।
यह कदम निश्चित रूप से जनपद देवरिया की शिक्षा व्यवस्था को एक नई दिशा देगा और शिक्षा की गुणवत्ता में सकारात्मक परिवर्तन लाएगा।