
लखनऊ।(राष्ट्र की परम्परा डेस्क) लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) में नई व्यवस्था लागू होने के बाद विभागीय इंजीनियरों में भारी नाराज़गी देखी जा रही है। हाल ही में जारी प्रावधान के अनुसार अब 40 लाख रुपये तक के कार्यों की मंजूरी प्रमुख सचिव स्तर से होगी।
पहले 40 लाख तक के कार्यों को प्रमुख अभियंता एवं विभागाध्यक्ष द्वारा अनुमोदित किया जाता था, लेकिन नई व्यवस्था में लालफीताशाही के कारण विकास कार्यों की गति प्रभावित हो रही है।
पीडब्ल्यूडी डिप्लोमा इंजीनियर संघ ने इस संबंध में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर नाराज़गी जताई है। संघ का आरोप है कि नई व्यवस्था को लागू करने से पहले कैबिनेट की मंजूरी नहीं ली गई। इससे विभागीय कार्यप्रणाली में अनावश्यक विलंब और असंतोष बढ़ रहा है।
संघ के पदाधिकारियों का कहना है कि यदि व्यवस्था में सुधार नहीं हुआ तो विकास परियोजनाएं और अधिक प्रभावित होंगी तथा निर्माण कार्यों की गुणवत्ता और समयबद्धता पर भी असर पड़ेगा।