लखनऊ (राष्ट्र की परम्परा डेस्क) सड़क हादसों को रोकने और चालकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उत्तर प्रदेश रोडवेज की बसों में एंटी स्लीपिंग डिवाइस लगाने की योजना फिलहाल अधर में लटकी हुई है। छह महीने से इस काम पर पूरी तरह ब्रेक लग गया है।

सूत्रों के अनुसार, रोडवेज प्रबंधन ने पहले चरण में 680 बसों में एंटी स्लीपिंग डिवाइस लगवाई थी। इसके बाद दूसरे चरण में 800 और बसों को इस तकनीक से लैस किया जाना था, लेकिन टेंडर प्रक्रिया आगे न बढ़ पाने के कारण काम रुका हुआ है। अब नए टेंडर का इंतजार किया जा रहा है।

गौरतलब है कि रोडवेज के पूरे बेड़े में एंटी स्लीपिंग डिवाइस लगाने की योजना बनाई गई थी, जिससे लंबी दूरी की यात्रा के दौरान ड्राइवर की नींद या झपकी के चलते होने वाले हादसों को रोका जा सके। लेकिन योजना की धीमी रफ्तार और तकनीकी दिक्कतों के कारण फिलहाल यह पहल अधूरी रह गई है।

यात्री सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए परिवहन विभाग ने इस डिवाइस को बेहद जरूरी माना है। अब देखना यह होगा कि दूसरे चरण के लिए नया टेंडर कब तक जारी होता है और कितनी जल्दी यह तकनीक पूरे बेड़े में लागू हो पाती है।