July 19, 2025

राष्ट्र की परम्परा

हिन्दी दैनिक-मुद्द्दे जनहित के

मोतिहारी से पीएम मोदी का बिहार को बड़ा तोहफा: महिलाओं को आर्थिक संबल, राज्य को विकास की सौगात

मोतिहारी /बिहार(राष्ट्र की परम्परा डेस्क), प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को डेढ़ महीने के भीतर तीसरी बार बिहार का दौरा किया और इस बार उन्होंने पूर्वी चंपारण जिले के मोतिहारी से राज्य को 7200 करोड़ रुपये से अधिक की विकास योजनाओं की सौगात दी। उनका यह दौरा न सिर्फ बिहार के विकास के लिए अहम रहा, बल्कि महिलाओं के लिए भी एक बड़ी सौगात लेकर आया।

प्रधानमंत्री ने मोतिहारी में आयोजित जनसभा के दौरान “पीएम ग्रामीण आवास योजना” के अंतर्गत 162 करोड़ रुपये की राशि जारी की। इस योजना के तहत हजारों लाभार्थियों को आवास निर्माण में सहायता मिलेगी। साथ ही, उन्होंने स्वयं सहायता समूहों (Self Help Groups – SHGs) से जुड़ी लाखों महिलाओं को आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में एक और मजबूत कदम बढ़ाते हुए 400 करोड़ रुपये की राशि सीधे उनके बैंक खातों में ट्रांसफर की।

मुख्य घोषणाएं और सौगातें:

₹7200 करोड़ की विभिन्न परियोजनाओं का शिलान्यास व लोकार्पण,₹162 करोड़ पीएम ग्रामीण आवास योजना के तहत जारी,₹400 करोड़ स्वयं सहायता समूह से जुड़ी महिलाओं के खातों में स्थानांतरित,पूर्वी चंपारण सहित राज्य के अन्य क्षेत्रों के लिए जल, सड़क, बिजली व कृषि से संबंधित परियोजनाओं की शुरुआत

प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में कहा, “बिहार के विकास के लिए हमारी सरकार प्रतिबद्ध है। आज जो योजनाएं शुरू की गई हैं, उनसे गरीब, किसान, महिलाओं और युवाओं को सीधा लाभ मिलेगा।”

उन्होंने यह भी कहा कि महिलाओं की भागीदारी के बिना देश की प्रगति अधूरी है। “स्वयं सहायता समूहों की महिलाएं आज गांवों में बदलाव की अगुवाई कर रही हैं। हमारी सरकार उनके सपनों को पंख देने के लिए निरंतर प्रयासरत है,” पीएम मोदी ने जोशीले अंदाज में कहा।

भीड़ से भरा जनसभा स्थल, उत्साह चरम पर
मोतिहारी में आयोजित जनसभा में भारी जनसैलाब उमड़ा। स्थानीय निवासियों और भाजपा कार्यकर्ताओं में प्रधानमंत्री के आगमन को लेकर भारी उत्साह देखा गया। मंच पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सहित राज्य के अन्य वरिष्ठ नेता भी मौजूद रहे।

महिलाएं और ग्रामीण भारत
इस दौरे की खास बात यह रही कि पीएम मोदी का विशेष ध्यान ग्रामीण भारत, खासकर महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण पर केंद्रित रहा। सरकारी सूत्रों के अनुसार, स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी महिलाओं की संख्या राज्य में लगातार बढ़ रही है और सरकार इन समूहों को स्वरोजगार, लघु उद्योग और वित्तीय समावेशन के जरिए मुख्यधारा में लाना चाहती है।