
डिप्टी सीएम व राज्य मंत्री संचारी रोग जागरूकता वाहनों को दिखाई गई हरी झण्डी
बहराइच (राष्ट्र की परम्परा)|मिहींपुरवा स्तिथ कुड़वा अनुवांशिक ब्लड डिसार्डर सिकल सेल रोग उन्मूलन के लिए प्रदेश के 16 जनजातीय बाहुल्य जिलों में पीड़ितों की जांच उपचार व रोग प्रबंधन के लिए सिकल सेल डिजीज उन्मूलन मिशन 2047 तथा राष्ट्रीय स्तर की विभिन्न योजनाओं का देश के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा मध्यप्रदेश के शहडोल जिले से शुभारम्भ किया गया। प्रदेश के उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक,स्वास्थ्य राज्य मंत्री मयंकेश्वर शरण सिंह व अन्य जनप्रतिनिधियों तथा अधिकारियों के साथ मिहींपुरवा स्थित कुड़वा हेल्थ एण्ड वेलनेस सेन्टर पर आयोजित कार्यक्रम में मौजूद रहकर वर्चुअल माध्यम से प्रधानमंत्री के कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस अवसर पर सांसद बहराइच अक्षयवर लाल गोंड, एम.एल.सी.डॉ.प्रज्ञा त्रिपाठी, विधायक महसी सुरेश्वर सिंह, पयागपुर सुभाष त्रिपाठी,बलहा सरोज सोनकर,नानपारा राम निवास वर्मा,भाजपा जिलाध्यक्ष श्यामकरन टेकड़ीवाल,प्रमुख मिहींपुरवाअभिषेक वर्मा,प्रमुख सचिव मिहींपुरवा स्वास्थ्य पार्थ सेन सारथी शर्मा,जिलाधिकारी मोनिका रानी,पुलिस अधीक्षक प्रशान्त वर्मा,मुख्य राजस्व अधिकारी अवधेश कुमार मिश्र,अपर पुलिस अधीक्षक ग्रामीण पवित्र मोहन त्रिपाठी,उप जिलाधिकारी मिहींपुरवा मोतीपुर संजय कुमार,पुलिस क्षेत्राधिकारी राहुल पाण्डेय,जिला विकास अधिकारी महेन्द्र कुमार पाण्डेय,मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ.एस.के. सिंह व अन्य अधिकारी मौजूद रहे। उल्लेखनीय है कि यह बीमारी पूरे देश विशेषकर आदिवासी लोगों के लिए गंभीर चिंता का कारण रही है। एक अनुमान के मुताबिक सात करोड़ से अधिक आदिवासी लोगों में यह गंभीर बीमारी देखी जा रही है। इसी के जोखिमों को ध्यान में रखते हुए साल 2047 तक इस रोग को भारत से जड़ से खत्म करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसी संकल्प को अमलीजामा पहनाने के उद्देश्य से प्रधानमंत्री द्वारा मिशन का श्रीगणेश किया गया है। सिकल सेल एनीमिया रक्त से संबंधित विकार है। यह वंशानुगत विकारों के समूह में से एक है जिसे सिकल सेल रोग के रूप में जाना जाता है। सिकल सेल रोग, दोषपूर्ण हीमोग्लोबिन से संबंधित मानी जाती है l जिसमें ऊतकों तक ऑक्सीजन युक्त रक्त का प्रवाह बाधित हो जाता है l जो कई गंभीर रोगों का कारण बनती है। इस परिदृश्य में यदि आकांक्षात्मक जनपद बहराइच की बात की जाय तो विकास खण्ड मिहींपुरवा में थारू जनजाति की जनसंख्या लगभग 10681 है। जिन्हें इस कार्यक्रम से प्रत्यक्ष लाभ प्राप्त होगा। कुड़वा में आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए उपमुख्य मंत्री पाठक ने कहा कि केन्द्र व राज्य सरकार देश व प्रदेश के नागरिकों को बेहतर से बेहतर चिकित्सा सुविधा प्रदान करने के लिए दृढ़ संकल्पित है। इसी कड़ी में आज देश के यशस्वी प्रधानमंत्री के द्वारा सिकल सेल एनिमीया के खात्मे हेतु कार्यक्रम का श्रीगणेश किया गया है। वर्ष 2047 तक इस बीमारी के खात्मे के साथ आगामी 03 वर्षों में लगभग 03 लाख लोगों को चिकित्सा सुविधा प्रदान करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। उप मुख्यमंत्री ने लोगों का आहवान किया कि संचारी रोग के खत्मे हेतु आपने आस-पास साफ-सफाई रखें ताकि मच्छरजनित बीमारियों पर अंकुश लगाया जा सके। उपमुख्य मंत्री बृजेश पाठक ने राष्ट्रीय चिकित्सक दिवस पर सभी चिकित्सकों को बधाई दीं। प्रदेश के स्वास्थ्य राज्य मंत्री सिंह ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों का आहवान किया कि 01 वर्ष में 40 वर्ष तक आयु के सभी लक्षित व्यक्तियों की जांच कर डाटा एकत्र कर लें ताकि इस जानलेवा बीमारी का खात्मा किया जा सके। कार्यक्रम के दौरान मंत्रीगण ने मौजूद जनप्रतिनिधियों के साथ जिले के थारू बाहुल्य ग्रामों में संचालित किये गये अभियान के दौरान पॉज़ीटिव पाये गये 27 लोगों धनीराम,सौम्या,सुलाजी,संजय, कलरानी,विकास,मनीष,गुंजन, अलीशा,संगम,रहीना,गौरव,नरेश, राम वकील,पंचराम,साहिल,राज कुमार,मीना देवी,अनुराग,चिचिया, कालीदेवी,रसनी,तारा,लईनी, रोहित,सुधीर व रीता को सिकल सेल एनीमिया कार्ड का वितरण किया गया।कार्यक्रम के अन्त में जिलाधिकारी ने प्रदेश के उप मुख्यमंत्री,पुलिस अधीक्षक ने राज्य मंत्री तथा सीएमओ ने प्रमुख सचिव स्वास्थ्य को स्मृति चिन्ह के रूप में ओडीओपी कलाकृति भेंट की। इसके उपरान्त मंत्रीगण ने जनप्रतिनिधियों के साथ संचारी रोग नियंत्रण अभियान हेतु जनजागरूकता वाहनों को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया।
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