आजमगढ़ के निरंकारी सन्त समागम में गूंजा मानवता का जयघोष - राष्ट्र की परम्परा
August 18, 2025

राष्ट्र की परम्परा

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आजमगढ़ के निरंकारी सन्त समागम में गूंजा मानवता का जयघोष

गोविन्द मौर्य/आजमगढ़ (राष्ट्र की परम्परा/RKP NEWS)-  सत्गुरू माता सुदीक्षा जी महाराज के पावन सानिध्य में विशाल निरंकारी संत समागम का आयोजन भदुली रोड स्थित खोजापुर के मैदान में किया गया। इस दिव्य संत समागम में सम्मिलित हुए सभी भक्तों एवं प्रभु प्रेमियों का स्वरूप एक जन सैलाब जैसा प्रतीत हो रहा है जिसमें सभी श्रद्धालु संत भक्तिमय वातावरण से सराबोर होकर प्रतिपल आनंदित हो रहे थे।
 सत्गुरू माता जी के दिव्य आगमन पर सम्पूर्ण वातावरण ही जयघोष से गूँज उठा। मानो इस जयघोष की ध्वनि सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड में व्याप्त हो गई हो और इस अलौकिक दृश्य को देखकर वहां उपस्थित सभी भक्तों के चेहरे नूर पूर नूर हो उठे। सत्गुरू माता जी के स्वागत में नन्हें-मुन्हें बाल संतों द्वारा स्वागत गीत प्रस्तुत किया गया जिन्होंने मिशन की सिखलाई का ऐसा सुंदर उदाहरण प्रस्तुत किया कि भक्ति की कोई आयु सीमा नहीं होती, भक्ति हृदय से उत्पन्न होती है जो हर अवस्था में की जा सकती है। उसके उपरांत गीतों एवं विचारों का क्रम आरम्भ हो गया। सभी ने अपनी भावनाओं को गीतों एवं विचारों के माध्यम से सत्गुरू के समक्ष प्रस्तुत किया।


अंत में सत्गुरू माता जी ने अपने विचारों द्वारा विशाल जनसमूह को सम्बोधित करते हुए कहा कि मनुष्य, जाति पाति के तमाम बंधनों में जकड़ा हुआ है। यदि उसे ब्रह्मज्ञान की प्राप्ति हो जाये तब वह इन बंधनों से मुक्ति प्राप्त कर सकता है। सही अर्थो में वहीं मुक्ति का अधिकारी होता है। सत्गुरू माता जी ने आगे कहा कि जब बच्चा छोटा होता है तब उसके मन में किसी के लिए कोई भेदभाव नहीं होता। किन्तु जैसे जैसे आयु बढ़ती जाती है समाज उसे अनेक प्रकार के बंधनों में बांध देता है। ऐसी अवस्था में यदि उसे ब्रह्मज्ञान की प्राप्ति हो जाये तब वह जाति पाति के बन्धनों से ऊपर उठकर वास्तविक रूप में एक सच्चा इंसान बन जाता है। इस प्रकार ब्रह्मज्ञान ही एक मात्र मुक्ति का माध्यम है। सत्गुरू माता जी ने अपने विचारों में फरमाया कि ‘जैसी दृष्टि वैसी सृष्टि’। अर्थात् ‘नजर बदले नजारे बदल जाते है।’ जब मनुष्य की सोच बदल जाती है तब समाज में सुंदरता स्वतः ही आ जाती है। 
आजमगढ़ में आयोजित इस दिव्य संत समागम में संत निरंकारी मण्डल के आदरणीय मोहन छाबड़ा जी (मेम्बर इंचार्ज ब्रांच प्रशासन) ने सत्गुरू माता जी का अभिनन्दन किया एवं हृदय से आभार प्रकट करते हुए कहा कि आप अपनी पावन उपस्थिति एवं आशीर्वाद से उत्तर प्रदेश को उत्तम प्रदेश बना दो। आजमगढ़ के ज़ोनल इंचार्ज राम जीत राम भारती ने प्रशासन एवं स्थानिक सज्जनों के सहयोग के लिए धन्यवाद प्रकट किया। इस संत समागम में आजमगढ़, फैजाबाद, अम्बेडकर, मऊ एवं उसके आसपास के क्षेत्रों से सभी संतों ने भाग लेकर सत्गुरू माता जी के पावन प्रवचनों द्वारा स्वयं को आनंदित किया एवं उनके दिव्य दर्शनों के उपरांत सभी के हृदय में अपने सत्गुरू के प्रति कृतज्ञता का भाव था।