देवरिया(राष्ट्र की परम्परा) 20 सितम्बर …
जिले के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र (सीएचसी) लार के प्रसव कक्ष को राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (एनक्वास) की टीम ने 88 प्रतिशत अंक प्रदान करते हुए गोल्डन बैज दिया गया है। प्रसव कक्ष व ऑपरेशन थियेटर में गुणवत्ता तथा बेहतर प्रसव सेवाएं उपलब्ध कराने के लिए चलाए जा रहे लक्ष्य कार्यक्रम के तहत मूल्यांकन हुआ था। एनक्वास टीम राष्ट्रीय टीम ने 28 व 29 जुलाई को 362 उपमानकों के आधार पर इसका मूल्यांकन किया था।
👉एनक्वास टीम के वाह्य मूल्यांकन में मिले 88 प्रतिशत अंक
एसीएमओ आरसीएच डॉ. बीपी सिंह ने बताया कि जिले में निरंतर स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता में सुधार किया जा रहा है। स्वास्थ्य केंद्रों में प्रसव के दौरान गर्भवती के लिए तनाव मुक्त माहौल उपलब्ध कराने के साथ ही प्रसव कक्ष की गुणवत्ता में सुधार लाने के उद्देश्य से स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा लक्ष्य कार्यक्रम की शुरुआत की गई हैं।
👉लक्ष्य कार्यक्रम के तहत टीम ने किया था प्रसव कक्ष का मूल्यांकन
एनक्वास की टीम ने जिन मानकों पर सीएचसी का निरीक्षण किया था उनमें प्रसव कक्ष को सर्विस प्रोविजन में 77 प्रतिशत, रोगी के अधिकार में 98 प्रतिशत, इनपुट्स में 90 प्रतिशत, सपोर्ट सर्विसेज में 77 प्रतिशत, क्लीनिकल सर्विसेज में 93 प्रतिशत, इंफेक्शन कंट्रोल में 86 प्रतिशत, क्वालिटी मैनेजमेंट में 77 प्रतिशत तथा आउटकम में 85 प्रतिशत अंक प्राप्त हुए थे। इन सभी आठों मानकों के कुल 362 उपमानको पर अस्पताल के प्रसव कक्ष एवं शल्य कक्ष का लगातार गुणवत्ता अनुश्रवण एवं निरीक्षणकिया गया, जिसके बाद यह परिणाम प्राप्त हुआ।
👉मिलती हैं गुणवत्तापूर्ण सुविधाएं
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र पर प्रसव करा चुकीं रावतपार निवासी उपवन्ति देवी (33) बताती हैं कि अगस्त 2022 में उन्होने एक बच्चे को जन्म दिया था। इस दौरान प्रसव केन्द्र के कर्मियों के साथ ही चिकित्सकों का भी बेहतर सहयोग मिला। प्रसव से पूर्व उनके तीन एएनसी चेकअप भी इसी सीएचसी पर किए गए। साफ सफाई का भी प्रबन्ध बेहतर रहा। प्रसव के बाद टीकाकरण के लिए भी नियमित आती रहती हूं।
👉प्रदेश में भी लार सीएचसी की अलग पहचान
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र लार के अधीक्षक डॉ. बीवी सिंह बताते हैं कि सीएचसी निरन्तर प्रगति के पथ पर चल रही है। वर्ष 2020 में कराए गए कायाकल्प मूल्यांकन में इसे 81 फीसदी अंक मिले थे और प्रदेश में नौंवा स्थान प्राप्त हुआ था। पुरस्कार के रुप में डेढ लाख रुपए मिले थे। वहीं वर्ष 2022 में हुए कायाकल्प मूल्यांकन में सीएचसी को पूरे प्रदेश में दूसरा स्थान प्राप्त हुआ था। यह एक महत्वपूर्ण उपलब्धि थी। सीएचसी को इस बार चार लाख रुपए पुरस्कार के रुप में मिले। पुरस्कार के रुप में मिले धन से प्रसव कक्ष की गुणवत्ता में निरन्तर सुधार किए गए। प्रदेश में पहली बार चलाए गए दस्तक अभियान में भी लार सीएचसी ने प्रदेश में पहला स्थान प्राप्त किया था।
👉क्या है लक्ष्य कार्यक्रम, कैसे होता है मूल्यांकन
जिला क्वालिटी कंसल्टेंट डॉ. मैनुद्दीन अंसारी बताते हैं कि प्रसव कक्ष में देखभाल सुविधाओं के मूल्यांकन के बाद प्रसूति कक्ष और मैटरनिटी ऑपरेशन थियेटर में गुणवत्ता सुधार का मूल्यांकन राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (एनक्यूएएस) के माध्यम से किया जाता है। मूल्यांकन में 70 से 80 तक स्कोर पाने वाले अस्पताल को सिल्वर की श्रेणी में रखा जाता हैं जबकि 81 से 90 तक स्कोर पाने वाले अस्पताल को गोल्ड की श्रेणी में रखा जाता हैं तो वहीं 91 से 100 तक स्कोर पाने वाले अस्पताल को प्लेटिनम की श्रेणी में रखा जाता हैं। इन सभी को श्रेणियों को प्रशस्ति पत्र व प्रोत्साहन के रूप में नकद राशि दी जाती है।
👉सुविधा बढ़ी तो बढ़ा प्रसव
जिला मातृ स्वास्थ्य परामर्शदाता विश्वनाथ मल्ल ने बताया कि प्रसव कक्ष की सुविधाएं बढ़ी तो सीएचसी लार पर प्रसव कराने वाली महिलाओं की संख्या भी बढ़ी है। वर्ष 2019-20 में 2374, वर्ष 2020-21 में 2452 और 2021-22 में 2752 महिलाओं ने प्रसव कराया है।
संवादाता देवरिया..
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