आयुक्त सभागार में 80 वर्ष से अधिक आयु के पेंशनरों को अंगवस्त्र देकर किया गया सम्मान
गोरखपुर(राष्ट्र की परम्परा)
पेंशनरों के सम्मान एवं उनकी समस्याओं के समाधान के उद्देश्य से गोरखपुर में पेंशनर दिवस का आयोजन आयुक्त सभागार में किया गया। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में सेवानिवृत्त अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे। आयोजन के दौरान पेंशनरों के योगदान को याद करते हुए उनके प्रति कृतज्ञता व्यक्त की गई।
कार्यक्रम में 80 वर्ष से अधिक आयु पूर्ण कर चुके पेंशनरों को विशेष रूप से अंगवस्त्र भेंट कर सम्मानित किया गया। इस अवसर पर उपस्थित अधिकारियों ने कहा कि पेंशनर समाज की अमूल्य धरोहर हैं, जिन्होंने अपने कार्यकाल में शासन और समाज के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उनका अनुभव और मार्गदर्शन आज भी प्रशासन एवं समाज के लिए उपयोगी है।
पेंशनर दिवस कार्यक्रम में अंजनी कुमार सिंह, अपर जिलाधिकारी नगर (एडीएम सिटी) मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। इसके साथ ही जयमंगल राव, अपर निदेशक कोषागार एवं पेंशन, गोरखपुर मंडल, प्रवीण कुमार सिंह, मुख्य कोषाधिकारी गोरखपुर, आशुतोष कुमार मिश्रा, कोषाधिकारी गोरखपुर सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद रहे। अधिकारियों ने पेंशनरों की समस्याओं को गंभीरता से सुना और उनके त्वरित समाधान का आश्वासन दिया।
कार्यक्रम के दौरान पेंशनर्स संगठनों के पदाधिकारियों ने भी अपने विचार व्यक्त किए। उन्होंने पेंशन भुगतान, स्वास्थ्य सुविधाएं, पारिवारिक पेंशन, डिजिटल प्रक्रियाओं में आ रही दिक्कतों और जीवन प्रमाण पत्र से जुड़ी समस्याओं को अधिकारियों के समक्ष रखा। अधिकारियों ने भरोसा दिलाया कि पेंशनरों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए प्रक्रियाओं को और सरल बनाया जाएगा तथा लंबित मामलों का शीघ्र निस्तारण किया जाएगा।
एडीएम सिटी अंजनी कुमार सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि पेंशनर शासन-प्रशासन की रीढ़ रहे हैं और उनका सम्मान करना हम सभी का कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि पेंशनरों की समस्याओं के समाधान के लिए जिला प्रशासन सदैव तत्पर है। जयमंगल राव ने कोषागार एवं पेंशन से जुड़ी योजनाओं और सुविधाओं की जानकारी देते हुए पेंशनरों से डिजिटल माध्यमों का अधिक से अधिक उपयोग करने की अपील की।
कार्यक्रम के अंत में सभी पेंशनरों का आभार व्यक्त किया गया और भविष्य में भी इस तरह के आयोजनों के माध्यम से संवाद बनाए रखने का संकल्प लिया गया। पेंशनर दिवस का आयोजन पेंशनरों के लिए सम्मान, संवाद और सहयोग का एक महत्वपूर्ण मंच साबित हुआ।
