मऊ ( राष्ट्र की परम्परा ) जनपद के घोसी कोतवाली अंतर्गत मझवारा क्षेत्र के ग्राम सभा मलेरीकोट के मौजा मानिकपुर निवासिनी 15 वर्षीय नाबालिग किशोरी को गांव के लोगों द्वारा बोलेरो में बैठाकर व नशीला पदार्थ सुंघाकर करीब 8 साल पूर्व राजस्थान में बेच देने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। करीब 8 साल बाद फरवरी माह में घर लौटी किशोरी ने परिजनों को आपबीती बताई जिसके बाद अदालत के आदेश पर कोतवाली पुलिस ने मंगलवार की रात 4 अभियुक्तों पर विभिन्न गंभीर धाराओं में केस दर्ज किया है।
घोसी कोतवाली अंतर्गत ग्राम सभा मलेरीकोट के मौजा मानिकपुर निवासिनी शकीना बानो पुत्री रमजान अहमद ने मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट डा केपी सिंह की अदालत में प्रार्थना पत्र प्रस्तुत करते हुए बताया कि 15 मई 2018 की सुबह 10 बजे वह घर से स्कूल जा रही थी। रास्ते में उसी गांव के दाऊद परवेज उर्फ डीपी खान, शहजाद, मोहम्मद अब्बास व रिजवाना मिले और बताया कि तुम्हारी मां की तबीयत बहुत खराब है और उन्हें हम लोग मऊ लेकर जा रहे हैं। जान पहचान का होने के कारण मैं उनकी बोलेरो गाडी में बैठ गई। थोडी दूर जाने के बाद उक्त लोगों ने मुझे नशीला पदार्थ सुंघाकर बेहोश कर दिया। तीन दिन बाद जब मुझे होश आया तो मैं राजस्थान के एक मेले में पडी थी। लोगों ने बताया कि तुम्हें यहां बेच दिया गया है। काफी दिनों तक मुझे वहां बंधक बनाकर रखा गया। मैं नाच गाना कर अपना पेट पालती थी। अब 8 साल बाद किसी तरह से उनके चंगुल से छूटकर आई और मुकामी थाने व पुलिस अधीक्षक को मामले से अवगत कराया लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। पीड़िता के प्रार्थना पत्र को गंभीरता से लेते हुए मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट डा केपी सिंह ने कोतवाली पुलिस को मुकदमा पंजीकृत करने का आदेश दिया था।
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