
गोरखपुर (राष्ट्र की परम्परा)। दिग्विजयनाथ स्नातकोत्तर महाविद्यालय गोरखपुर में स्थित मीराबाई छात्रावास के दिग्विजयनाथ स्मृति सभागार में चल रहे राष्ट्रीय सेवा योजना के सप्त दिवसीय शिविर के पांचवे दिन के बौद्धिक सत्र को संबोधित करते हुए खेल व शारीरिक शिक्षा विभाग के प्रभारी डॉ. अवधेश शुक्ला ने आयुर्वेद के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि आयुर्वेद शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए आवश्यक है और यह प्राकृतिक जीवनशैली को बढ़ावा देता है। डॉ. शुक्ला ने बताया कि आयुर्वेद के अनुसार, प्रत्येक व्यक्ति की प्रकृति (दोष) वात, पित्त और कफ के अनुसार होती है। इनका संतुलन बनाए रखना स्वस्थ जीवन के लिए आवश्यक है। उन्होंने आयुर्वेदिक आहार, दिनचर्या और औषधियों के महत्व पर भी बल दिया। कार्यक्रम का संचालन वरिष्ठ कार्यक्रम अधिकारी डॉ.जितेंद्र कुमार पांडेय और धन्यवाद ज्ञापन डॉ. निधि राय ने किया। इसके पूर्व शिविर का प्रारंभ प्रार्थना सभा व लक्ष्यगीत से हुआ। तत्पश्चात स्वयं सेवक व स्वयं सेविकाओं को योग व आत्मरक्षा अभ्यास कराया गया। इसके बाद शिविरार्थियों के मध्य डिजिटल साक्षरता विषय पर रंगोली प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। जिसके निर्णायक मंडल के निरीक्षण के बाद विवेक प्रजापति, विनीता मझवार, तनीषा व दीक्षा की टीम को प्रथम, विधि श्रीवास्तव, पल्लवी श्रीवास्तव, निलाक्षी, सृष्टि सिंह व सृष्टि राव की टीम को द्वितीय और सुरभि, रुबिका, तान्या अनुप्रिया व पायल की टीम को तृतीय स्थान पर घोषित किया गया। निर्णायक मंडल ने प्रतिभागियों के उज्जवल भविष्य की कामना करते हुए बधाई दी। इस अवसर पर प्रमुख रूप से वरिष्ठ कार्यक्रम अधिकारी डॉ. पीयूष सिंह, प्रदीप यादव व चारो इकाईयों के स्वयंसेवक व स्वयंसेविका अनुराग मिश्रा, प्रफुल्ल त्रिपाठी, रुबिका कुमारी, प्रिया गुप्ता, आकृति राय, शिखा राय, सृष्टि राव, शिवांगी यादव, निलाक्षी, हर्षिता आदि उपस्थित रहीं।
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