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पीडी को सांसद निधि में चाहिए हिस्सा
संत कबीर नगर(राष्ट्र की परम्परा)। प्रदेश सरकार के भ्रष्टाचार पर जीरो टालरेंश की नीति को कमीशन खोर सरकारी अधिकारी बट्टा लगा रहे हैं। संत कबीर की नगरी के विकास विभाग के परियोजना निदेशक सुरेंद्र कुमार गुप्ता माया के वशीभूत होकर नाथनगर ब्लॉक के अकाउंटेंट तरुण कुमार शांडिल्य से ब्लाक में भेजे सांसद निधि से अपना हिस्सा मांगते हुए धमका रहे हैं। जिसका आडियो सोमवार से सोशल मीडिया विभिन्न प्लेटफार्मों पर वायरल हो रहा है। हलाकिं “राष्ट्र की परम्परा” इस आडियो की पुष्टि नही करता।
प्रस्तुत है वायरल आडियो के वार्ता का अंश:-
पीडी- नमस्कार! यह बताओ शांडिल्य सांसद निधि का जो पैसा गया था नाथनगर में, वह वाला हिसाब कहां गया ?
शांडिल्य- वह तो जिले वाले जिले से ही ले लेते हैं साहब।
पीडी- जिले वाले कौन ले लेते हैं ?
शांडिल्य- जो अकाउंटेंट पहले थे ।
पीडी- पहले अकाउंटेंट कौन थे।
शांडिल्य- साहब पहले शिव नारायण या राजीव राय या प्रवीण यादव थे ।
पीडी- अकाउंटेंट प्रवीण यादव ले लिए थे।
शांडिल्य- जी हां, बात कर आया हूं सर आज।
पीडी- प्रवीण को बुलाओ, प्रवीण यादव ले लिए कि खाली सीडीओ साहब का हिस्सा काट कर दिए हैं।
शांडिल्य- हां, साहब, केवल सीडीओ साहब का एक परसेंट काट कर दिए हैं।
पीडी- और हम लोग कहां चले गए?
शांडिल्य- सर, हम से क्या मतलब, अगर रहता तो पहले हो नहीं जाता, आज अगर आप कह रहे है तो आगे से होगा।
पीडी- जो पैसा हम पहले देंगे, वह क्या हम ठेकेदार से मांगेंगे, हम ब्लॉक से मांगेंगे ना।
शांडिल्य- आज तक ऐसा नहीं था। पहली बार ऐसी स्थिति आ रही है सर।
पीडी- पहली बार ऐसी स्थिति क्यों आ रही भाई ?
शांडिल्य- हम क्या बताएं सर ? जिले की व्यवस्था थी, सर चार साल से।
पीडी- तो क्या प्रवीण ले लिए हैं ?
शांडिल्य- जी, जी वही बता रहे थे
पीडी- कितना गया 10 लाख का
शांडिल्य- हां
पीडी – ऐसा है, मेरा हिस्सा देखो, चाहिए ही चाहिए शांडिल्य।
शांडिल्य – ठीक है साहब आज आप बता दिए हैं तो बता दूंगा।
पीडी – बताना नहीं है, मुझे चाहिए ही चाहिए, बताने की बात छोड़ दो, समझ गए ना।
शांडिल्य – ठीक है ।
पीडी – 10 लाख का हिसाब मुझे चाहिए ही चाहिए। सीडीओ साहब को कैसे तुम काटकर दे दिए हो ? मेरा हिसाब मुझे चाहिए, यह समझ लो।
शांडिल्य – साहब, यह व्यवस्था पहले से चली आ रही थी।
पीडी – यह किसने किया ?
शांडिल्य – हमने नहीं किया सर। इसमें केवल सीडीओ का और ब्लॉक का सिर्फ मेरे जिम्मे रहता है।
पीडी – सीडीओ से क्या मतलब रहता है तुम्हारा ?
शांडिल्य – आप जैसे सीडीओ का कह रहे हैं, आगे से वैसे आपका भी हिस्सा रहेगा, क्योंकि आप पहले नहीं कह रहे थे ?
पीडी – नहीं तो मेरा 10 लाख का हिसाब है। 10 लाख का हिसाब तुम मुझे दोगे।
शांडिल्य – हम कहां से देंगे सर, जब देंगे तब दे देंगे।
पीडी – हम बताएंगे कि तुम कहां से दोगे, हम आएंगे तब पता चलेगा कहां से तुम दोगे। साहब को दे दोगे और हमारा कहोगे ठेकेदार से लीजिए ।
शांडिल्य – हां ठीक है साहब।
पीडी – दिमाग खराब है तुम्हारा।
आडियो की पुष्टि के सम्बंध में जब कोशिश की गई तो पता चला कि पीडी हृदय रोग से ग्रसित हैं और राजधानी के किसी की अस्पताल में बाइपास सर्जरी कराएं है। जिसकी वजह से 17 दिसंबर तक अवकाश पर हैं।
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