बलिया (राष्ट्र की परम्परा)। शिक्षा मनुष्य का वह आभूषण है। जिसे ग्रहण करने से व्यक्ति का भविष्य गुणवान संस्कारी बन जाता है। शिक्षा ही मनुष्य को कर्मठ, महत्वाकांक्षी, और परिश्रमी बनाती है। अतः शिक्षा व्यक्ति के व्यक्तित्व का मूल आधार है | बालिका शिक्षा आज के समय की सबसे बड़ी आवश्यकता है। शिक्षा मनुष्य के जीवन का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा है चाहे वह बालक हो या बालिका। एक बालिका शिक्षित होगी तो उससे दो परिवारों का उत्थान होना निश्चित है। बालिकाओं को शिक्षित करना माता पिता का प्रमुख दायित्व है। इन्हें बिना किसी भेदभाव के शिक्षित कर देश के भविष्य को बेहतर बनाने में मदद मिलेगी। बालिका के लिए शिक्षा एक ऐसा अस्त्र होता है जिसके सहारे वह अपने जीवन की हर लड़ाई लड़ सकती है। अशिक्षित बालिका ही उत्पीड़न तथा शोषण का शिकार हो जाती है। ऐसी स्थिति से निपटने के लिए शिक्षा अस्त्र का काम करेगी। शिक्षा पाकर बालिका भी अपने पैरों पर खड़ी हो सकती है बालिका विद्यालय ना होने से रूढ़िवादी परिवार की बेटियां शिक्षा से वंचित रह जाती हैं। भारत में बालिकाओं की शिक्षा में व्यापक विषमता देखने को मिलती है | पूरे एशिया महाद्वीप में भारत में महिला साक्षरता दर सबसे कम है। एक शिक्षित महिला आर्थिक रूप से मजबूत बनकर देश में गरीबी को कम करने में मदद कर सकती है। बालिकाओं पर किसी भी देश का भविष्य निर्भर करता है। अतः बालिका के लिए शिक्षा नितांत आवश्यक है। शिक्षित बालिका ही परिवार और समाज को नई दिशा प्रदान करती है और निरंतर प्रगति की ओर ले जाती है।
(सीमा त्रिपाठी)
शिक्षिका साहित्यकार लेखिका
गोरखपुर(राष्ट्र की परम्परा)। दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय के गृह विज्ञान विभाग में राष्ट्रीय पोषण सप्ताह…
शाहजहांपुर(राष्ट्र क़ी परम्परा )l उत्तर प्रदेश ग्राम रोजगार सेवक पंचायत मित्र वेलफेयर एसोसिएशन ने सोमवार…
शाहजहांपुर(राष्ट्र क़ी परम्परा )l रोजा थाना क्षेत्र में सोमवार को बड़ा हादसा हो गया। मालगाड़ी…
कोपागंज/मऊ(राष्ट्र क़ी परम्परा )l आगामी बारहवफात पर्व को सकुशल और शांतिपूर्ण ढंग से मनाने के…
लखनऊ (राष्ट्र की परम्परा डेस्क) उत्तर प्रदेश सरकार ने सोमवार को एक बार फिर प्रशासनिक…
पटना, अगमकुआं (राष्ट्र की परम्परा डेस्क)पटना के अगमकुआं थाना क्षेत्र के कुम्हरार इलाके में सोमवार…